नक्शा तरमीम एवं सीमांकन के नाम हरिजन परिवार से पन्द्रह हजार रुपए के की RI ने की थी वसूली,हप्तो बीत बाद,सीमांकन कार्य कर रहा घूसखोर आर आई

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नक्शा तरमीम एवं सीमांकन के नाम हरिजन परिवार से पन्द्रह हजार रुपए के की RI ने की थी वसूली,हप्तो बीत बाद,सीमांकन कार्य कर रहा घूसखोर आर आई



नक्शा तरमीम एवं सीमांकन के नाम हरिजन परिवार से पन्द्रह हजार रुपए के की RI ने की थी वसूली,हप्तो बीत बाद,सीमांकन कार्य कर रहा घूसखोर आर आई




रवि शुक्ला,मझौली 

अपने कार्य प्रणाली एवं अवैध वसूली से चर्चित आरआई पर नक्शा तरमीम एवं सीमांकन के नाम पर भारी भरकम राशि वसूले जाने का आरोप मीडिया को पीड़ित हरिजन परिवार द्वारा लगाया गया था राशि वापस दिलाए जाने की गुहार लगाई गई थी। जिसकी राशि मीडिया की शिरकत के बाद वापस की गई है। लेकिन कार्यवाही के नाम पर हीला हवाली की जा रही है। जबकि एक राष्ट्रीय अखबार के आंचलिक पत्रकार द्वारा बताया गया कि खंड स्तर के वरिष्ठ अधिकारियों को न्यूज़ चैनल में चलाई गई खबर के साथ वास्तविक रूप से वीडियो भेजा गया फिर भी अभी तक घूसखोर आर आई धर्मदास गुप्ता पर कार्यवाही किए जाने की बजाय सीमांकन कार्य कराया जा रहा है जिससे तहसील कार्यालय के वरिष्ठ अधिकारियों के कार्य प्रणाली पर सवालिया निशान लग रहा है।


3 महीने पूर्व हो चुका है स्थानांतरण

मिली जानकारी अनुसार सोशल मीडिया में वायरल आदेश कॉपी के अनुसार कार्यालय कलेक्टर एवं जिला दण्डाधिकारी सीधी मप्र 1 मार्च 2024 को अपर कलेक्टर के हस्ताक्षरित आदेश जारी किया जाकर प्रशासनिक कार्य सुविधा की दृष्टि से अपर कलेक्टर जिला सीधी द्वारा आदेश पारित कर अस्थाई रूप से मझौली तहसील से कार्यालय कलेक्टर सामान्य निर्वाचन शाखा जिला सीधी स्थानांतरित किए जाने का आदेश किया गया था लेकिन स्थानांतरण के तीन माह बीत जाने के बाद भी यहां से रिलीव नहीं किया गया है जो लोगों के बीच चर्चा का विषय बना हुआ है।

यह है पूरा मामला

देवराज पिता कामता साकेत निवासी पाड द्वारा मीडिया को वीडियो के साक्ष्य के साथ जानकारी देते हुए बताया गया था कि मझौली तहसील कार्यालय में पदस्थ गुप्ता आर आई जिसका नाम धर्मदास गुप्ता बताया गया है द्वारा नक्शा तरमीम एवं सीमांकन के नाम पर हम लोगों से यह कहते हुए की नक्शा तरबीम एवं सीमांकन का पैसा लगता है तीन किस्तों में 5000--5000 कर के15000 रुपए ले लिए फिर भी काम नहीं किये ।मीडिया द्वारा जब बताया गया कि नक्शा तरमीन एवं सीमांकन की शुल्क लोक सेवा केंद्र में आवेदन लगाते समय लगती है। तहसील में नहीं लगती तो पीड़ित परिवार द्वारा कहा गया कि यह जानकारी हमें नहीं थी आर आई साहब द्वारा कहा गया कि नक्शा तरमीन एवं सीमांकन करने के लिए पैसा लगता है।20000 रूपए की मांग की गई थी विनती भाव करने पर 15000 तीन किस्तों में 19 जून 20 जून एवं 25 जून 2024 को लेने के बाद 25 जून को खेत पर पहुंचे और समुचित ढंग से नाप ना करते हुए कोरम पूर्ति कर चले गए। जिसका खबर प्रकाशन दैनिक जागरण समाचार पत्र में किया गया था। मीडिया की शिरकत के बाद आर आई द्वारा राशि हरिजन परिवार को वापस की गई। जिसकी जानकारी पीड़ित परिवार द्वारा मीडिया को बयान के साथ दिया गया।

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