Holi 2024 Date: साल 2024 में कब मनाई जाएगी होली? जानिए
होलिका
दहन की मुहूर्त
Holi 2024: हर साल फाल्गुन मास में मनाई जाने वाली होली की विशेष धार्मिक मान्यता होती है. इस दिन अर्धम की हार और धर्म की जीत हुई थी. यही वजह है कि फाल्गुन पूर्णिमा को होलिका दहन के रूप में मनाया जाता है. वहीं इसके अलगे दिन रंगवाली होली होती है.
ये रंगोल्लास और सतरंगी रंगों से सराबोर ऐसा त्योहार है जो, ऋतुराज बसंत की विदाई और ग्रीष्म ऋतु के आगमन के स्वागत में मनाया जाता है, खासकर बज्र में इसकी रौनक देखने लायक होती है. जानें आइए जानते हैं साल 2024 में होलिका दहन का मुहूर्त, क्या भद्रा रहेगी, होली पर चंद्र ग्रहण कब रहेगा.
होली 2024 इतिहास(Holi 2024 Histroy)
भारत में होली के त्योहार की अनुठी धूम देखने को मिलती है. हर साल फाल्गुन मास में मनाई जाने वाली होली की विशेष धार्मिक मान्यता होती है. इस दिन से हिरण्यकश्यप, प्रह्लाद और होलिका (Holika) की पौराणिक कथा जुड़ी हुई है. माना जाता है एक समय में हिरण्यकश्यप नामक राजा रहा करता था जो भगवान विष्णु का विरोधी था. लेकिन, उसका पुत्र प्रह्लाद भगवान विष्णु को घनिष्ठ भक्त था. वह दिन-रात श्रीहरि की पूजा करता रहता है. हिरण्यकश्यप को इस बात से परेशानी थी और इसीलिए वह प्रह्लाद का वध करना चाहता था. हिरण्यकश्यप ने प्रह्लाद को मारने की बहुत कोशिश की लेकिन हर बार ही असफल रहा. एक बार हिरण्यकश्यप ने अपनी बहन होलिका को प्रह्लाद (Prahlad) का वध करने के लिए कहा. हिरण्यकश्यप ने होलिका से कहा कि वह प्रह्लाद को अपनी गोद में लेकर आग की चिता पर बैठ जाए क्योंकि होलिका को आग में ना जलने का वरदान प्राप्त था. लेकिन, भगवान विष्णु की कृपा से प्रह्लाद बच गया और होलिका आग की लपटों से भस्म हो गई. इसके बाद से ही बुराई पर अच्छाई की जीत के रूप में होलिका दहन किया जाता है. इसके अगले दिन रंगों से होली खेली जाती है जिसे धुलेंडी (Dhulandi) कहते हैं. जानिए इस साल कब मनाया जाएगा होली का पर्व.
होली
का महत्व
होली का हिंदुओं के लिए जो धार्मिक महत्व है वह काफी ज्यादा है. यह हिंदू धर्म की सबसे महत्वपूर्ण त्योहारों में से एक है. होली के त्यौहार के दौरान लोग बहुत खुशी और उत्साह के साथ जश्न मनाते हैं. यह त्यौहार लगातार दो दिनों तक मनाया जाता है, इसकी शुरुआत छोटी होली से होती है और उसके बाद दुल्हेंडी होती है, जिसे बड़ी होली या रंग वाली होली भी कहा जाता है. छोटी होली की पूर्व संध्या पर, होलिका दहन का आयोजन किया जाता है. लोग अलाव जलाते हैं, होलिका की पूजा करते हैं और उसकी सात बार चक्कर लगाते हैं अथवा परिक्रमा करते हैं. दुल्हेंडी के दिन भुगतान के रूप में पानी और रंगों का इस्तेमाल किया जाता है. वे एक-दूसरे के घरों में जाते हैं और अपने चेहरे पर गुलाल या चमकीले रंग लगाते हैं और खुशी-खुशी इस रंगों के त्योहार को मनाते हैं.
2024 में होली कब है ? Holi kab hai
साल 2024 में फाल्गुन पूर्णिमा पर होलिका दहन 24 मार्च 2024 को किया जाएगा. वहीं फाल्गुन शुक्ल प्रतिपदा तिथि के दिन 25 मार्च को रंगवाली होली मनाई जाएगी. देश में सबसे पहले होली का पर्व उज्जैन के महाकाल में मनाया जाता है. इस साल होली पर चंद्र ग्रहण भी रहेगा.
होलिका दहन 2024 भद्रा का समय(Holika Dahan 2024 )
24 मार्च को होलिका दहन के दिन भद्रा लग रही है. उस दिन भद्रा का प्रारंभ सुबह 09 बजकर 54 मिनट से हो रही है, जो रात 11 बजकर 13 मिनट तक है. उस दिन भद्रा की पूंछ शाम 06:33 बजे से शाम 07:53 बजे तक है, वहीं भद्रा का मुख शाम 07:53 बजे से रात 10:06 बजे तक है.
हालिका दहन के दिन भद्रा का वास पृथ्वी लोक पर सुबह 09:54 बजे से दोपहर 02:20 बजे तक है, वहीं भद्रा का वास पाताल लोक में दोपहर 02:20 बजे से रात 11:13 बजे तक है. भद्रा के समय में हालिका दहन नहीं करते हैं
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