राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा में उमड़ा अपार जनसैलाब, विधानसभा चुनाव के साथ लोकसभा के परिणामों पर भी पड़ेगा व्यापक असर
सुधांशु द्विवेदी, भोपाल/ नई दिल्ली। देश मेें व्यापक जनहितैषी राजनीतिक कार्यसंस्कृति विकसित करने एवं अघोषित राजनीतिक क्रांति के उद्देश्य से कन्याकुमारी से कश्मीर तक भारत जोड़ो यात्रा निकाल रहे कांग्रेस नेता राहुल गांधी की इस यात्रा को देश भर में मिल रहे व्यापक जन समर्थन एवं इस यात्रा में जन-जन के जुड़ाव से यह बात पूरी तरह स्पष्ट है कि 2023 में मध्यप्रदेश सहित विभिन्न राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनावों के साथ- साथ 2024 के लोकसभा चुनाव के नतीजों पर भी इस यात्रा का सीधा असर पड़ेगा। वैसे यह कहा जा रहा है कि राहुल गांधी की इस भारत जोड़ो यात्रा का चुनाव से कोई वास्ता नहीं है लेकिन कोई भी बड़ा राजनीतिक व्यक्ति अगर इस तरह की बड़ी पदयात्रा करेगा तो उसके पीछे छिपे उद्देश्य एवं उसके परिणामों का आकलन बड़ी आसानी से किया जा सकता है। महाराष्ट्र का सफर पूरा करने के बाद राहुल गांधी की पदयात्रा बुरहानपुर से मध्यप्रदेश में प्रवेश कर चुकी है। राहुल गांधी की मध्यप्रदेश में होने वाली करीब 12 दिन की यह पदयात्रा प्रदेश के 6 जिलों में से होकर गुजरेगी तथा इस दौरान राहुल गांधी देश के संवैधानिक एवं बुनियादी जनहितैषी मुद्दों को लेकर आम जनमानस से सीधे रूबरू हो रहे हैं। अपनी इस भारत जोड़ो यात्रा के दौरान राहुल गांधी का बुद्धिजीवियों, सेवानिवृत्त अधिकारियों, उद्यमियों, युवाओं-महिलाओं से सीधा संवाद हो रहा हैे। राहुल गांधी का अपनी पदयात्रा के दौरान लोगों से मिलने- जुलने का तरीका यह बताता है कि वह अनावश्यक जुमलेबाजी और चमगादड़गिरी के विपरीत लोगों से ऐसा संवाद कर रहे हैं कि लोग उनसे बेझिझक मुद्दों एवं समस्याओं से जुड़ी बातें कह सकें। राहुल गांधी की यह सरलता, सहजता एवं सादगी ही उनकी इस भारत जोड़ो यात्रा की व्यापक सफलता, सर्वव्यापकता एवं सर्वग्राह्यता का सबसे बड़ा आधार बन रही हैै। राहुल गांधी की इस पदयात्रा को लेकर कांग्रेस कार्यकर्ताओं में अपार उत्साह तो है ही। साथ ही निष्ठावान कांग्रेस नेता भी इस भारत जोड़ो यात्रा का सफल बनाने में जुटे हुए हैं। वहीं इस पद यात्रा के दौरान कुछ ऐसे लोग भी राहुल गांधी के पीछे दौडऩे की कोशिश कर रहे हैं जिनकी कांग्रेस से गद्दारी ही उनकी पहचान हैं। यह लजाऊ चेहरे आगामी विधानसभा एवं लोकसभा चुनावों की दृष्टि से टिकट की लालच एवं अन्य समीकरणों के कारण इस पदयात्रा के दौरान राहुल गांधी की नजर में आना चाहते हैं। उनमें न तो कोई नैतिकता है और न ही ईमानदारी। उनका कोई जनाधार भी नहीं है तथा कांग्रेस में रहकर कांग्रेस को नुकसान पहुंचाना ही उनकी फितरत है। ऐसे में इस तरह की घटिया मानसिकता के लोगों से राहुल गांधी द्वारा अतिरिक्त सतर्कता बरतना भी स्वाभाविक है। ताकि भारत जोड़ो यात्रा की सफलता में कोई विध्न बाधा न पड़े। भारत जोड़ो यात्रा के बुरहानपुर पहुंचने पर मंच पर प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ, प्रदेश कांग्रेस प्रभारी जेपी अग्रवाल, महाराष्ट्र प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष नाना पटोले आदि मौजूद रहे। मंच पर राहुल गांधी के साथ उल्लेखित कांग्रेस नेताओं की उपस्थिति के जिक्र का आशय यह है कि राहुल गांधी के साथ कांग्रेस के अन्य निष्ठावान नेता भी इस पद यात्रा की सफलता के परिपेक्ष्य में उत्साह का संदेश देना चाहते हैं। राहुल गांधी की इस पदयात्रा के मद्देनजर पुलिस की सक्रियता भी सराहनीय है। राहुल गांधी की सुरक्षा के दृष्टिगत राहुल गांधी के विरोधियों, असामाजिक तत्वों की किसी भी साजिश- षडय़ंत्र को विफल किया जा सके।
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