ग्लोबल आयुष इन्वेस्टमेंट एंड इनोवेशन समिट का उद्घाटन में डॉ. टेड्रोस बोले गुजराती,PM मोदी ने "तुलसी भाई" रखा नाम
गांधीनगर: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने तीन दिवसीय गुजरात दौरे के अंतिम दिन गांधीनगर स्थित महात्मा मंदिर में ग्लोबल आयुष इन्वेस्टमेंट एंड इनोवेशन समिट (Global AYUSH Investment and Innovation Summit) का उद्घाटन किया.
इस मौके पर विश्व स्वास्थ्य संगठन के महानिदेशक डॉ टेड्रोस घेब्येयियस, मॉरीशस के प्रधानमंत्री प्रविंद कुमार जगन्नाथ और भारत के आयुष मंत्री सर्वानंद सोनोवाल भी मौजूद रहे. वैश्विक आयुष निवेश और नवाचार शिखर सम्मेलन में गुजराती में बोलते हुए डब्ल्यूएचओ के महानिदेशक डॉ टेड्रोस अदनोम घेब्येयियस ने कहा, 'मैं महात्मा गांधी की भूमि पर आकर खुद को सौभाग्यशाली मान रहा हूं.'
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जब बोलने उठे तो उन्होंने मजाकिया लहजे में कहा, 'डब्ल्यूएचओ के डायरेक्टर डॉ टेड्रोस मेरे बहुत अच्छे मित्र हैं. वह मुझे बता रहे थे कि उन्हें भारत के टीचर ने पढ़ाया है. आज डॉ टेड्रोस कह रहे थे, मैं पक्का गुजराती हो गया हूं. मेरा कोई गुजराती नाम रख दो. आज से मैं अपने दोस्त का नाम 'तुलसी भाई' रखता हूं.'
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, यह पहली बार है जब आयुष क्षेत्र के लिए निवेश शिखर सम्मेलन आयोजित किया जा रहा है. मैंने इसके बारे में उस समय सोचा था जब COVID19 का प्रकोप शुरू हुआ था. इस दौरान 'आयुष काढ़ा' और इसी तरह के अन्य उत्पादों ने लोगों की प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने में मदद की है. इस साल अब तक 14 स्टार्टअप यूनिकॉर्न क्लब में शामिल हो चुके हैं. मुझे विश्वास है कि जल्द ही आयुष के क्षेत्र में यूनिकॉर्न स्टार्ट-अप्स उभरेंगे. प्रधानमंत्री ने बताया कि 2014 में आयुष क्षेत्र 3 बिलियन अमेरिकी डॉलर का हुआ करता था, जो अब बढ़कर 18 बिलियन अमेरिकी डॉलर का हो गया है.
उन्होंने कहा, यह बहुत जरूरी है कि औषधीय पौधे उगाने में लगे किसानों को बाजार से आसानी से जुड़ने की सुविधा मिले. इसके लिए सरकार आयुष ई-मार्केटप्लेस के आधुनिकीकरण और विस्तार पर भी काम कर रही है. प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि हम एक विशेष आयुष चिह्न बनाने जा रहे हैं. यह चिह्न भारत में बने उच्चतम गुणवत्ता वाले आयुष उत्पादों पर लागू होगा और उन्हें प्रमाणिकता देगा. पीएम मोदी ने घोषणा की कि पारंपरिक उपचार के लिए भारत आने वालों के लिए जल्द ही वीजा की 'आयुष श्रेणी' शुरू करेगा.
गुजरात के मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के प्रयासों से योग और पारंपरिक चिकित्सा ने दुनिया में अपनी जगह बनाई है. दुनिया भर में लोग अब पारंपरिक चिकित्सा की ओर बढ़ रहे हैं. अब निवारक दवा की ओर बढ़ने का समय है. गांधीनगर में मॉरीशस के प्रधानमंत्री प्रविंद कुमार जगन्नाथ ने कहा कि भारत विश्व का औषधालय है. हम कोविड महामारी के दौरान आयुर्वेदिक दवाएं भेजने के लिए भारत के आभारी हैं. मॉरीशस में, आयुष की प्रथा लोकप्रिय है, हमने इस धारणा को अपनाया है कि पारंपरिक दवाएं आधुनिक दवाओं की पूरक हैं.
यह शिखर सम्मेलन 3 दिन तक चलेगा. शिखर सम्मेलन में लगभग 90 प्रख्यात वक्ताओं और 100 प्रदर्शकों की उपस्थिति के साथ पांच पूर्ण सत्र, 8 गोलमेज सम्मेलन, 6 कार्यशालाएं और 2 संगोष्ठियां होंगी. शिखर सम्मेलन निवेश क्षमता को उजागर करने में मदद करेगा. यह नवाचार, अनुसंधान और विकास, स्टार्ट-अप पारिस्थितिकी तंत्र और कल्याण उद्योग को बढ़ावा देगा. यह उद्योग जगत के नेताओं, शिक्षाविदों और विद्वानों को एक साथ लाने में मदद करेगा और भविष्य के सहयोग के लिए एक मंच के रूप में कार्य करेगा.
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