MP News: कोरोना संक्रमित महिला की मौत के बाद अस्पताल से 1.50 लाख के जेवरात चोरी
अस्पताल में कोविड वार्ड में भर्ती महिला मरीज की मौत के बाद शरीर से डेढ़ लाख के जेवर चोरी ही गए। इसकी जानकारी तब हुई जब मरीज की मौत के बाद अस्पताल वालों ने शव की पहचान के लिए परिजनों को बुलाया। मृतका के कान और नाक से सोने के जेवर गायब देख परिजनों ने विरोध किया तो बॉडी पैक करने वालों ने उन्हें एक पन्नी में नकली जेवरात रखकर थमा दिए। जेवरात लेने के बजाय परिजन शव लेकर चले गए। सीएम हेल्पलाइन में शिकायत करने के बाद पुलिस ने चोरी का केस दर्ज कर लिया।
यह मामला मध्यप्रदेश की राजधानी भोपाल के जेके अस्पताल का है।
जानकारी के अनुसार नेहरू नगर निवासी सार्थक जोशी (25) वकील हैं।
उनके पिता सुदर्शन जोशी सहकारिता विभाग में निरीक्षक हैं। सार्थक ने बताया कि 17 अप्रैल को उन्होंने अपनी मां अल्पना जोशी (55) को कोलार रोड स्थित जेके अस्पताल में भर्ती कराया था, जहां कोविड वार्ड में उनका इलाज चल रहा था। छह दिन बाद 22 मई को मां का निधन हो गया। अस्पताल वालों ने शव की पहचान के लिए उन्हें बुलाया। जब मां का चेहरा देखा तो नाक में पहनी सोने की लौंग गायब दिखी। पैक बाड़ी को खुलवाकर देखा तो गले में पहना मंगलसूत्र, कान की बालियां, दोनों हाथों के कंगन, चांदी की पायल और बिछिया गायब थे। उन्होंने इसकी शिकायत अस्पताल प्रबंधन से की। इसके बाद बॉडी को पैक करने वाले दो लोग पहुंचे और उन्होंने एक पन्नी थमाई। उसमें मंगलसूत्र जैसी एक माला, कान की बाली और तार की बनी बिछिया थी, जो नकली थे और उनकी मां के जेवरात नहीं थे। उन्होंने जेवरात उन्हीं को सौंप दिए और लोगों की समझाइश के बाद शव लेकर अंतिम संस्कार के लिए चले गए।
सार्थक ने बताया कि उन्होंने इसकी रिपोर्ट कोलार थाने में दर्ज करनी चाही, लेकिन पुलिस ने कोई सुनवाई नहीं की। इसके बाद उन्होंने इसकी शिकायत सीएम हेल्पलाइन में की। तेरहवीं का कार्यक्रम संपन्न करने के बाद वह निजी काम से इंदौर चले गए थे। इधर, सीएम हेल्पलाइन में शिकायत के बाद पुलिस ने उनसे संपर्क किया और जेवरात गुमने का आवेदन देने के लिए दबाव डाला। जब वह इसके लिए तैयार नहीं हुए तो पुलिस ने चोरी की रिपोर्ट दर्ज कराने की बात कही। सवा महीने बाद शनिवार को सार्थक थाने पहुंचे और कोविड वार्ड में भर्ती मां के शरीर से जेवरात चोरी की रिपोर्ट दर्ज कराई।
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