सीधी:महिला बाल विकास विभाग के समझाइस के बाद रुका बाल विवाह
मामला उमरिया सेक्टर के डेवा का
सीधी जिले के कुसमी विकासखंड के सेक्टर उमरिया अन्तर्गत ग्राम डेवा में महिला बाल विकास विभाग के द्वारा होने वाले बाल विवाह को समझाइश के बाद रोक दिया गया है जिसके बाद परिजनों ने भी बाल विवाह शादी न करने महिला बाल विकास विभाग को आश्वस्त किया है मिली जानकारी के मुताबिक गत दिनों चाइल्ड्स हेल्पलाइन मे प्राप्त शिकायत के आधार पर महिला बाल विकास परियोजना अधिकारी कुसमी अनुसुइया वाजपेयी के कुशल मार्गदर्शन एवम निर्देशन में सेक्टर सुपरवाइजर उमरिया श्रद्धा बागड़े के साथ डेवा ग्राम पंचायत के समस्त आंगनवाड़ी केंद्रों की आंगनवाड़ी कार्यकर्ता एवं सहायिका के द्वारा डेवा ग्राम में पहुंच कर बालिका आरती बंसल पिता रामदास बंसल के घर उपस्थित होकर जन समुदाय के समक्ष बालिका आरती बंसल की अंकसूची का सत्यापन विभाग के द्वारा किया गया जिसके आधार पर बालिका की उम्र 16 वर्ष पाई गई जिससे 18 वर्ष से कम उम्र में विवाह बाल विवाह की श्रेणी में आता है उसी आधार पर बालिका के माता-पिता को उपस्थित जन समुदाय एवं ग्राम पंचायत के सरपंच उपपंच एवं पंच के समक्ष बाल विवाह अधिनियम के अंतर्गत होने वाले कारावास तथा जुर्माने के बारे में जानकारी देते हुए समझाइस दी गयी सेक्टर पर्यवेक्षक एवम टीम के द्वारा माता-पिता को बताया गया कि यदि वह बाल विवाह करते हैं तो कारावास और जुर्माने से दंडित किया जाएगा समझाइस के बाद परिजनों ने भी बाल विवाह करने से मना कर दिया है डेवा के इस बाल विवाह को महिला बाल विकास विभाग टीम के कुशल नेतृत्व पर बाल विवाह रोका गया है।
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