पुलिस, अभियोजन और ज्‍यूडसरी को जेण्‍डर सेंसिटिव के प्रति संवेदनशील होने की आवश्‍यकता है- डीजी प्रॉसिक्‍यूशन

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पुलिस, अभियोजन और ज्‍यूडसरी को जेण्‍डर सेंसिटिव के प्रति संवेदनशील होने की आवश्‍यकता है- डीजी प्रॉसिक्‍यूशन

पुलिस, अभियोजन और ज्‍यूडसरी को जेण्‍डर सेंसिटिव के प्रति संवेदनशील होने की आवश्‍यकता है- डीजी प्रॉसिक्‍यूशन


महिलाओं के विरूद्ध अपराधों के प्रकरणों में सशक्‍त पैरवी हेतु अभियोजन अधिकारियों का 04 दिवसीय ऑनलाईन प्रशिक्षण कार्यक्रम (वेबीनार) सफलतापूर्वक संपन्‍न -
लोक अभियोजन म.प्र. के अंतर्गत संचालक लोक अभियोजन श्री विजय यादव के प्रभावी मार्गदर्शन में महिलाओं की सुरक्षा की दृष्टि से म.प्र. के अभियोजन अधिकारी को महिला अपराधों में सशक्‍त पैरवी करने हेतु दिनांक 15 से 18 दिसम्‍बर, 2020 तक 04 दिवसीय ऑनलाईन प्रशिक्षण कार्यक्रम (वेबीनार) का सफलतापूर्वक आयोजन किया गया। जिसमें मध्‍य प्रदेश के चयनित अभियोजन अधिकारी प्रतिभागी के रूप में सम्मिलित हुए।
वेबीनार के शुभारम्‍भ के दौरान माननीय संचालक महोदय द्वारा सभी प्रशिक्षणार्थियों का स्‍वागत करते हुए वूमन सेफ्टी एवं क्राइम एगेंस्‍ट वूमन को बहुत महत्‍वपूर्ण विषय बताया गया। साथ ही कहा गया कि पुलिस, अभियोजन और ज्‍यूडसरी को जेण्‍डर सेंसिटिव के प्रति संवेदनशील होने की आवश्‍यकता है। अभियोजन विभाग पुलिस एवं न्‍यायालय के बीच एक महत्‍वपूर्ण कड़ी के रूप में कार्य करता है। अत: अभियोजन को वूमन सेफ्टी के मामलों में प्रो-एक्टिव रोल अदा करना आवश्‍यक है। श्री यादव द्वारा मध्‍य प्रदेश में अभियोजित किये जा रहे महिलाओं के विरूद्ध आपराधिक प्रकरणों की समीक्षा समय-समय पर की जाकर उचित दिशा-निर्देश अधिकारियों को जारी किये जा रहे हैं साथ ही संचालनालय स्‍तर पर प्रकरणों में आ रही तकनीकी बाधाओं को दूर करने हेतु अन्‍य विभागों जैंसे फॉरेन्सिक, पुलिस आदि से पत्राचार भी किया जा रहा है जिससे प्रकरणों का निराकरण समय पर हो सके। श्रीमान संयुक्‍त संचालक महोदय श्री एल.एस. कदम व सहायक संचालक महोदय श्री शैलेन्‍द्र शर्मा जी द्वारा प्रशिक्षणार्थियों को प्रोत्‍साहन प्रदान किया गया।
वेबीनार में महिला सुरक्षा के आपराधिक मामलों में संबंधित फारेंसिक एविडेंस इन सेक्‍सुअल ऑफेंसेस, डिटरमिनेशन ऑफ एज ऑफ विक्टिम, महिलाओं के विरूद्ध साइबर क्राईम, एक्‍जामिनेशन ऑफ वि‍टनिस एण्‍ड सपोर्ट फॉर विक्टिम इन सेक्‍सुअल ऑफेंसेस, पीटा एक्‍ट के प्रावधान एवं विवेचना, पॉक्‍सो एक्‍ट के मामलों में अभियोजन, विक्टिम कम्‍पनसेसन स्‍कीम के प्रावधान, एवं महिला संबंधी अपराधों में अपनाई जाने वाली न्‍यायालयीन प्रक्रिया एवं प्रॉस्क्यिूटर की भूमिका आदि विषयों पर विशेषज्ञ व्‍याख्‍याताओं के रूप में अतिरिक्‍त जिला एवं सत्र न्‍यायाधीशगण, सामाजिक कार्यकर्ता, अभियोजन विभाग के मास्‍ट ट्रेनर्स द्वारा व्‍याख्‍यान दिया गया। यह ऑनलाईन प्रशिक्षण महिलाओं से संबंधित अपराधों में अभियोजन अधिकारियों को और अधिक सक्रिय भूमिका निभाने में उपयोगी साबित होगा।

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