कोरोना संक्रमित मरीजों को मौत के मुॅह से बाहर निकालने वाले खुद सड़कों पर आने को मजबूर
(✍️आर.बी.सिंह,राज)सीधी।
कोविड़ 19 स्वास्थ्य संगठन मध्य प्रदेश के बैनर तले जिले के लगभग दो सैकड़ा से अधिक अस्थाई कोरोना योद्धाओं द्वारा शनिवार की सुबह बीथिका भवन मे बैठक कर मुख्यमंत्री के नाम का ज्ञापन एसडीएम गोपद बनास नीलांम्बर मिश्रा को ज्ञापन सौंपा गया।
उक्त कार्यक्रम के दौरान प्रदेश उपाध्यक्ष डॉ.के.पी.सिंह, प्रदेश
महामंत्री डॉ. मनोज सिंह, प्रदेश कार्यकारणी सदस्य प्रियंका कुशवाहा के मार्गदर्शन मे जिला इकाई के जिला अध्यक्ष डॉ.संजीव गौतम, कार्यकारणी
अध्यक्ष एवं मीडिया प्रभारी मनोज सिंह चौहान द्वारा ज्ञापन के माध्यम से बताया गया कि स्वास्थ्य कर्मचारी कोविड़ 19 महामारी की रोकथाम नियंत्रण उपचार हेतु पूरे मध्यप्रदेश में विगत 6 महीनों से लगातार अस्थाई पद पर कार्यरत हैं। उक्त अवधि में पूरी इमानदारी एवं कर्तव्य निष्ठा से अपने
कर्तव्यों का पालन करते हुए अपनी जान जोखिम में डालकर कोविड़ 19 के संदिग्ध एवं पॉजिटिव मरीजों के सीधे संपर्क में रहते हुए इलाज करते आ रहे हैं।
स्टाफ की कमी से जूझ रहा विभाग:-
जिलाध्यक्ष डॉ. संजीव गौतम ने बताया कि जिला सहित पूरे प्रदेश में स्वास्थ्यकर्मियों की भारी किल्लत है जिसके चलते आमजन शासकीय अस्पताल की जगह निजी चिकित्सालय की ओर उपचार हेतु जाते हैं और वर्षो की खून पसीने की
जमा पूॅजी एक झटके मे ही खत्म हो जाती है। जबकि शासकीय अस्पतालों मे नि:शुल्क सेवा उपलब्ध कराई जाती है। वहीं मध्य प्रदेश शासन द्वारा अस्थाई कर्मचारियों को बाहर निकालने की पूरी तैयारी की जा रही है। मिले पत्र के आधार पर पूरे मध्य प्रदेश मे ऐसे कोरोना योद्धा जिन्होने संकट की घड़ी मे कोविड़ 19 पीडितो की प्राण रक्षा हेतु खुद के प्राणो की परवाह किये बगैर दिन रात मेहनत करते हुए पूरे भारत वर्ष मे एक माडल के रूप मे प्रस्तुत हुए हैं। वहीं कूट रचना के तहत कोविड.19 से संबंधित स्वास्थ्य कर्मचारी के रूप में कार्य कर रहे सभी कर्मचारियों का नियमितीकरण वा संविदा करने
की जगह बाहर का रास्ता दिखाया जा रहा है। जो कि पूरी तरह से नियम विरूद्धप्रतीत हो रहा है।
मुख्यमंत्री के नाम सौपे मॉग पत्र की मुख्य मॉगें:-
कोविड.19 महामारी के कारण परिस्थितियों एवं कार्य सुविधा की दृष्टि से राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन भोपाल द्वारा स्वास्थ्य कर्मचारियों का अनुबंध खत्म कर सदैव के लिए अस्थाई से स्थाई वा संविदा कर दिया जाए। समस्त प्रदेश में 1 माह का एक्सटेंशन किया गया है जिसे बढ़ाकर स्थाई व संविदा पद पर नियुक्त किया जाए। शासन द्वारा जो कर्मवीर कल्याण योजना के तहत कार्यरत स्वास्थ्य कर्मीयों का 50 लाख का बीमा लागू किया जाए। स्वास्थ्य कर्मीयों को 10 हजार्र प्रोत्साहन राशि आज तक नहीं मिली, त्वरित रूप से दिलाया जाये। अस्थाई स्वास्थ्य कर्मीयों द्वारा प्रशासन एवं सरकार को चेताते हुए कहा गया कि यदि विषयांतर्गत मांगे 10 अक्टूबर तक नहीं मानी गई तो कोविड.19 के समस्त कार्यरत कर्मचारी कठोर निर्णय लेने के लिए मजबूर हो जाएंगे। उक्त कार्यक्रम के दौरान जिला एवं ब्लाक के समस्त अस्थाई कोरोना योद्धा मौजूद रहे।
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